बिरादरी वाद को बढ़ावा देने के चलते राज्य मंत्री राकेश राठौर गुरु की कार्यशैली पर उठने लगे सवाल।

सीतापुर-/मिश्रित ब्लॉक की एक ग्रामसभा भिठौली के एक मजरा सेमरा में नाला निर्माण पर दो पक्ष आमने-सामने हैं एक जहां मार्गं सुदृढ़ीकरण के वास्ते हो रहे नाला निर्माण का पक्षधर हैं तो दूसरा नाले के पानी का उल्टा बहाव किये जाने का विरोध कर रहा है।मामले में गौरतलब बात तो यह है कि जिन लोगों के पक्ष में राज्य मंत्री ने तहसील के एस डी एम को पत्र लिखा है उन लोगों के घरों की ओर तालाब नजदीक है और जो लोग विरोध कर रहे हैं उनके घरों की ओर नाले के पानी का उल्टा बहाव बनाया जा रहा है।
एक पक्ष के चार लोगों ने बीडियो मिश्रित को शपथ पत्र देकर नाला निर्माण के लिए अपनी भूमि देने की सहमति जताई है जबकि दूसरे पक्ष की महिला गोल्डी राठौह सहित अन्य के पक्ष में प्रदेश के राज्य मंत्री राकेश राठौर गुरु ने तहसील के एस डी एम को पत्र लिखकर नाले के पानी का उल्टा बहाव बनाये जाने के पक्षधर लोगों की बात को जायज ठहराते हुये उनके पक्ष में कार्यवाही की अपेक्षा की है। दूसरी तरफ मार्ग पर भरे पानी और कीचड़ समांपन के लिये होने वाले नाला निर्माण को लेकर एस डी एम ने बी डी ओ और एस एच ओ को मौके पर शांति व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश निर्गत किये हैं। गौरतलब हो कि महिला प्रधान के प्रतिनिधि द्वारा करायें जा रहे नाला निर्माण में अपनी जमीन देने का शपथ पत्र देने वाले लोगों के पक्ष में ग्राम पंचायत के सचिव द्वारा खण्ड विकास अधिकारी को सौंपी गई जांच रिपोर्ट को लेकर बीडीओ ने उपजिलाधिकारी को पत्र लिखा है । जिसका संज्ञान लेकर एसडीएम ने वीडियो और एसएचओ को निर्देश जारी किये हैं। ज्ञातब्य हो कि भीषण गंदगी में संक्रामक रोग निरन्तर अपने पैर प्रसार रहे हैं और जिस मार्ग के किनारे सरकारी धनराशि से ग्राम पंचायत द्वारा नाला निर्माण कार्य कराया जा रहा है उस मार्ग पर साइकिल से निकलना तो दूर पैदल तक निकलने का रास्ता नहीं है मार्ग पर काफी कीचड़ है। जबकि यह मार्ग सार्वजनिक मार्ग है जिस पर गांव के सभी ग्रामीण आवागमन करते हैं। मांमले में गौरतलब बात तो यह है कि जनहित में होने वाले नाला निर्माण की सही वस्तु स्थिति जाने बगैर और ग्रामीणों के आवागमन की विषम समस्या तथा सार्वजनिक रास्ते की दुर्दशा को नजरअंदाज करके सजातीय लोगों के पक्ष में राज्य मंत्री द्वारा एसडीम को पत्र लिखना उनकी कार्यशैली पर भी प्रश्न खड़ा कर रहा है। दूसरी तरफ क्षेत्र के लोगों में दबी जुबान से यह भी चर्चा है कि राज्य मंत्री राकेश राठौर गुरु खुले आम बिरादरी बात को बढ़ावा देने का कार्य कर रहे हैं जिसका उदाहरण मिश्रित ब्लाक का गांव सेमरा तो है ही जहां सरकारी धनराशि से ग्राम पंचायत द्वारा जनहित मे नाला निर्माण कार्य कराया जा रहा है लेकिन श्री राठौर द्वारा सजातीय लोगों का पक्ष लेकर एसडीएम मिश्रित को पत्र जारी करके उन्हें दबाव में लेने का कार्य किया गया है वहीं इसके पहले ब्लाक मिश्रित के ही एक गांव सहंसापुर के एक मामले में भी उनके द्वारा बिरादरी वाद के पक्ष में पुलिस पर दबाव बनाने की चर्चाये है परिणाम स्वरूप उच्च बिरादरी का एक व्यक्ति मौत के मुंह में समां गया है। दूसरी तरफ जनता में इस बात की दबी जुबान से चर्चाये होने लगी है कि सबका साथ सबका विकास का दावा करने वाली प्रदेश सरकार के मुखिया को आपकी कैबिनेट में शामिल राज्य मंत्री राकेश राठौर गुरु की कार्यशाली की तरफ गम्भीरता से जांच कराकर कार्यवाही करने आवश्कता है जिससे उनकी अनैतिक गतिविधियों पर अंकुश लग सके है अन्यथा यह कहावत 'कि प्रभुता पाय काह मद नाहीं" इनके द्वारा चरिर्तार्थ की जाती रहेगी जो आगामी चुनाव में अशुभता का प्रमुख कारण बन सकती है।