जिले में एक बार फिर से भालू के काटने से हुई ग्रामीण की मौत।

जिले में एक बार फिर से भालू के काटने से हुई ग्रामीण की मौत।

पेंड्रा। जिले में एक बार फिर से भालू के काटने से ग्रामीण की मौत हो गई है। जहां भालू के हमले और उसके बाद इलाज नहीं मिलने से ग्रामीण की मौत हो गई है। दरअसल पूरा मामला जिले के मरवाही वन मंडल के मरवाही वन परिक्षेत्र अंतर्गत लिटयासरई गांव का है जहां लटकोनीखुर्द का रहने वाला बाबूलाल नाम का शख्स रिश्तेदारी में आया था। देर रात बाबूलाल को शौच लगी जहां इस दौरान बाबूलाल घर के पास स्थित तालाब के पास शौच के लिए गया था। लेकिन इसी तालाब के पास झाड़ियों में भालू छिपा हुआ बैठा था। जिसने बाबूलाल को देखते ही हमला कर दिया था। जहां भालू के हमले के बाद बाबूलाल घायल हालत में जान बचाकर वापस अपने रिश्तेदार के यहां आया। जहां से उसे संजीवनी की मदद से सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र भेजा गया था।

1. फोन पर इलाज,घायल की तड़पकर हो गई मौत।।

वहीं सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में जब बाबुलाल आया तो वहां पर एक भी डॉक्टर मौजूद नहीं था। जब डॉक्टर को फोन किया गया तो उन्होंने आने के बजाए फोन पर ही इलाज करना शुरु कर दिया। जबकि सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से डॉक्टर का घर चंद कदम की दूरी पर था। इधर डॉक्टर के नहीं आने के बाद संजीवनी में मौजूद मेडिकल स्टाफ ने बाबूलाल के जख्मों पर टांके लगाएं और दर्द राहत इंजेक्शन दिया गया। वहीं रात डेढ़ बजे डॉक्टर के ना आने की सूचना जिला पंचायत सदस्य को दी गई। फिर भी डॉक्टर नहीं आया। आखिरकार गंभीर रूप से घायल बाबूलाल ने रात तीन बजे दम तोड़ दिया था।

2. डेढ़ घंटे तक इलाज नहीं करने का आरोप।।

वहीं इस पूरे मामले में परिजनों और जिला पंचायत सदस्य ने अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही के गंभीर आरोप लगाए हैं। सभी का कहना है कि लगभग डेढ़ घंटे गंभीर मामला आने के बाद भी डॉक्टर मौके पर मौजूद नहीं थे। वहीं परिजनों के मुताबिक यदि डॉक्टर को केस अटेंड नहीं करना था तो इसे जिला अस्पताल रेफर कर देते। लेकिन डॉक्टर ने ऐसा नहीं किया। जिसके कारण उसकी मौत हो गई। साथ ही उन्होंने कहा कि सही समय पर इलाज मिल जाता तो उसकी जान बच जाती।।

3. डॉ नागेश्वर राव मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी।।

वहीं जिले के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ नागेश्वर राव से चर्चा करने पर उन्होंने बताया कि उसे समय पर डॉक्टर के द्वारा इलाज किया गया था। डॉक्टर का घर पास में होने के कारण डॉक्टर समय पर हॉस्पिटल में मौजूद हो गए थे जहां मरीज का इलाज डॉक्टर के द्वारा किया गया था। वहीं मृतक की मौत भालू के काटने की दहशत के कारण हुई है।