चंदौली- साहब को गिफ्ट में मिली एसी पहुंचाने लखनऊ जा रहा वाहन हुआ दुर्घटनाग्रस्त,अब ड्राइवर से करा रहे भरपाई

चंदौली- साहब को गिफ्ट में मिली एसी पहुंचाने लखनऊ जा रहा वाहन हुआ दुर्घटनाग्रस्त,अब ड्राइवर से करा रहे भरपाई

संवाददाता कार्तिकेय पांडेय

चंदौली- जनपद में लगातार अपने किसी न किसी कारनामों को लेकर हमेशा चर्चा में बने रहने वाले अफसरों में से एक जिला स्तर पर तैनात बड़े साहब को विभिन्न इस्पेक्टरों द्वारा गिफ्ट में दी गई एसी को लखनऊ स्थित उनके आवास पर पहुंचाने जा रही एक लग्जरी वाहन सड़क दुर्घटना में पूरी तरीके से क्षतिग्रस्त हो गई। जिसको बनवाने के लिए साहब के लगभग ₹85000 खर्च हो गए। लेकिन उस पैसे को अब अपने खुद ना देने की बजाय साहब वाहन ड्राइवर से लेने के लिए लगातार दबाव बना रहे हैं जो कि वर्तमान में पुलिस विभाग में एक चर्चा का विषय बन गया है।

आपको बता दें कि हिंदी दैनिक अखबार राष्ट्रीय सहारा के अनुसार चंदौली जनपद में साहब 5 दिनों की छुट्टी लेकर परिवार के साथ लखनऊ जाने के लिए तैयार हुए। जिसके लिए उन्होंने बिना किसी सहयोग दिए एक लग्जरी वाहन यूपी 65.... 5000 को बुलवाया। वहीं इसके बाद साहब ने अपने इतने बड़े पद का दुरुपयोग भी कर डाला और पुलिस लाइन में तैनात एक दीवान (ड्राइवर) को बिना लिखा पढ़ी कहीं अपने साथ वाहन चलाने के लिए ले गए। वही आपको बताते चलें कि साहब उस स्कॉर्पियो वाहन में पहले से ही उनको गिफ्ट में मिल चुकी उनके आवास पर रखी हुई एसी सहित कुछ अन्य सामानों को भी वाहन में रखते हुए खुद अपने उसमें बैठ गए और जैसे ही वाहन चला रहे ड्राइवर के साथ बातचीत करते हुए साहब जौनपुर जनपद के आगे गए तभी अचानक एक किसी बड़े वाहन की चपेट में आने से साहब की लग्जरी गाड़ी पूरी तरीके से क्षतिग्रस्त हो गई। जिसमें गाड़ी के परखच्चे उड़ गए। अचानक बीच सड़क पर वाहन के दुर्घटनाग्रस्त होने से साहब के होश उड़ गए। इसकी जानकारी उन्होंने वाहन मालिक को दिया। लेकिन साहब उस वक्त और ज्यादा लाचार हो गए जब स्कॉर्पियो वाहन मालिक ने साहब से कह दिया कि जिस स्थिति में गाड़ी दिया था उसी स्थिति में मुझे गाड़ी चाहिए। वही साहब ने असहज होकर किसी तरीके से दूसरे वाहन की व्यवस्था कर सामान को लखनऊ स्थित अपने आवास पर भिजवाया। इसके बाद क्षतिग्रस्त हुई वाहन को क्षेत्र के एक वर्कशॉप पर पहुंचाया गया। जहां महान को बनाने में कुल ₹85000 का बिल सामने आया। दिल को देखते ही एक बार फिर से साहब आवाक रह गए। जिसका पैसा खुद ना दे करके उन्होंने वाहन चालक पर दबाव बनाना शुरू किया। यहां तक कि उन्होंने पहली बार तो किसी अन्य के खाते से ₹15000 ट्रांसफर कर दिया।जिसके बाद ड्राइवर किसी तरीके से बच पाया। लेकिन अब भी साहब द्वारा शेष बचे हुए पैसों की व्यवस्था करने के लिए प्रतिदिन ड्राइवर पर दबाव बनाया जा रहा है। जिसको लेकर पुलिस महकमे में चर्चा का विषय बन गया है।