पीलीभीत जनपद में सच्चाई लिखने पर कलम पर हो रही तलवार हावी,पीलीभीत में सच लिखने पर बिना जांच किए लिखे जाते हैं मुकदमे,2 टूक समाचार पत्र के पत्रकार सुमित सक्सेना ने पीलीभीत जनपद के महिला चिकित्स

बड़ी खबर
राजेश गुप्ता संवाददाता पीलीभीत।

पीलीभीत जनपद में सच्चाई लिखने पर कलम पर हो रही तलवार हावी।

पीलीभीत में सच लिखने पर बिना जांच किए लिखे जाते हैं मुकदमे।

2 टूक समाचार पत्र के पत्रकार सुमित सक्सेना ने पीलीभीत जनपद के महिला चिकित्सालय की बदहाली की खोली पोल।

तो बही स्वास्थ्य विभाग में अपने कर्तव्य का पालन न कर 22 वर्षों से एक ही जनपद में जमे चिकित्सक राजेश कुमार के द्वारा वैमनस्य भावना से ग्रसित होकर पत्रकार सुमित सक्सेना के खिलाफ अनैतिक रूप से मुकदमा दर्ज कराकर किया जा रहा है पत्रकार का मानसिक ब शारीरिक शोषण।

जनपद के तमाम समाचार पत्र एवं बैनरों के पत्रकारों ने की निंदा।

अक्रोशित पत्रकारों के द्वारा पीलीभीत डीएम/एसपी को दिया गया ज्ञापन।

पीड़ित पत्रकार को अखिल भारत हिंदू महासभा का मिला समर्थन।

आपको बता दें जनपद पीलीभीत में अगर कोई पत्रकार अपने कर्तव्यों का पालन करते हुए स्वास्थ्य विभाग की कमियों को उजागर करता है तो स्वास्थ्य विभाग के लापरवाह स्वास्थ्य कर्मचारियों के द्वारा पत्रकार के खिलाफ दबाव डालने के उद्देश्य से फर्जी मुकदमा भी दर्ज कराया जा सकता है। ऐसा ही एक मामला जनपद पीलीभीत से प्रकाश में आया है जहां पीलीभीत महिला चिकित्सालय की बदहाली की खबर 2 टूक समाचार पत्र के पत्रकार सुमित सक्सेना ने खबर को कवरेज करते हुए प्रकाशित किया था।इसके अलावा रात में एक गर्भवती महिला इलाज पाने के लिए जिला महिला टुकटुक के द्वारा पहुंची थी।मगर जिला महिला चिकित्सालय में तैनात मानवता को ताक पर रखने वाले कर्मचारियों ने मोटे कमीशन के चलते पूर्व की भांति इस गर्भवती महिला जिला महिला अस्पताल में भर्ती ना करते हुए गर्भवती महिला को प्राइवेट अस्पताल में भर्ती कराने के लिए बोल दिया।वहीं स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों की लापरवाही की वजह से गर्भवती महिला और गर्भस्त शिशु की दुखद मृत्यु हो जाती है। जिसकी खबर पत्रकार सुमित सक्सेना के द्वारा प्रकाशित की गई थी जिस पर जिलाधिकारी पीलीभीत संजय कुमार के द्वारा जिला महिला चिकित्सालय में छापेमारी की गई थी जिसमें तैनात पूरे स्टाफ को दोषी पाते हुए कार्रवाई की गई थी। मगर स्वास्थ्य विभाग में 22 वर्षों से पीलीभीत जनपद में तैनात राजेश कुमार के द्वारा पत्रकार सुमित सक्सेना पर सरकारी काम में बाधा डालने तथा प्रतिबंधित क्षेत्र में प्रवेश करने के जुर्म में कोतवाली पीलीभीत में मुकदमा दर्ज कर दिया गया।पत्रकार पर मुकदमा दर्ज होते ही घटना की जानकारी जैसे ही जनपद के पत्रकारों को लगी तो सभी पत्रकार अक्रोषित हो गए तथा इस घटना की निंदा करते हुए आज पीलीभीत जिला अधिकारी संजय कुमार तथा पुलिस अधीक्षक अविनाश पांडे को पत्रकार सुमित सक्सेना के खिलाफ फर्जी मुकदमा स्पंज करने के संबंध में एक ज्ञापन सोपा गया है।जन मानस में सोचने वाली बात है यदि कोई आमजन व्यक्ति या पत्रकार बंधु इस सम्बन्ध में कोई तथ्य प्रशासन के सामने रखता है तो उसको चुप कराने हेतु फर्जी मुकदमा लिखवाकर उसकी आवाज को दबाया जा रहा है।पिछले कई दिनो से पीलीभीत जिले के विभिन्न समाचार पत्रो में चिकित्सा विभाग की कमियाँ उजागर हो रही हैं।इसी क्रम में मौखिक शिकायतों के आधार पर पीलीभीत के दैनिक संध्या दो टूक अखबार के पत्रकार सुमित सक्सेना द्वारा खबर की पुष्टि के लिये महिला चिकित्सालय कवरेज किया गया,जिस पर वहाँ की कमियों को कवरेज न करने के लिये महिला चिकित्सालय के डॉक्टरो ने पत्रकार पर दबाव बनाया और अपने बचाव में दिनॉक 10.05.2024 को थाना कोतवाली में एक फर्जी मुकदमा पंजीकृत करा दिया गया।