11 महीने से लापता किशोर को पुलिस ने किया बरामद, तलाश में दर-दर भटक रहे पिता की खुशी का नहीं रहा ठिकाना, पिता की डांट से क्षुब्ध होकर घर से भागा था

हरदोई। पुत्र को खोजते दर-दर भटकने वाले पिता की खुशी का उस समय ठिकाना नहीं रहा जब उसका बेटा 11 महीने बाद मिला और सीने से लिपट गया। मामला पाली थाना क्षेत्र के खेमपुर गांव का है, जहां से 11 माह पूर्व एक किशोर पिता की डांट से क्षुब्ध होकर घर से चला गया था। पिता ने गांव के ही 6 लोगों के खिलाफ अपहरण कर हत्या करने का मुकदमा दर्ज कराया था। थाने से लेकर उच्चाधिकारियों व भाजपा प्रदेश अध्यक्ष से अपने पुत्र को खोजने की गुहार लगाने वाले उमेश चंद्र शुक्ला अपने बेटे के मिलने से अब काफी खुश हैं।

बताते चलें कि पाली थाना क्षेत्र के खेमपुर निवासी उमेश चंद्र शुक्ला का 15 वर्षीय पुत्र रोहित बीते वर्ष 17 जून को लापता हो गया था। जब वह खेत से घास काटने के लिए गया था। उमेश चंद्र शुक्ला ने 19 जून 2023 को गांव के ही 6 लोगों पर उसके बेटे का अपहरण कर हत्या करने का मुकदमा दर्ज कराया गया था। दिन और महीने गुजरते गए पर उमेश चंद्र के बेटे का कोई सुराग नहीं लगा। उमेश चंद्र ने थाने के अलावा पुलिस अधीक्षक, जिलाधिकारी सहित भाजपा नेताओं के पास भी अपनी व्यथा सुनाई। सवायजपुर पहुंचे भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी के पास अपनी फरियाद लेकर गए उमेश चंद्र और उसके परिजनों के साथ सुरक्षाकर्मियों ने धक्का मुक्की भी की थी। रोते बिलखते हुए उमेश का एक वीडियो भी सामने आया था, जिसमें वह अपने बेटे की तस्वीर लेकर फूट-फूट कर रो रहा था। फिलहाल रविवार को उमेश चंद्र शुक्ला का पुत्र रोहित उन्हें मिल गया। 11 महीने बाद अपने पुत्र को देखकर उमेश चंद्र शुक्ला की खुशी का ठिकाना नहीं रहा। परिजन मां और दादी व छोटा भाई भी रोहित से लिपटकर रोने लगा। एएसपी पश्चिमी मार्तंड प्रकाश सिंह ने बताया कि रोहित ने 17 जून 2023 को घर से घास काटने की बात कह कर गांव स्थित एक विद्यालय का ताला तोड़कर तोड़फोड़ की। इस पर उमेश चंद्र शुक्ला ने अपने पुत्र रोहित को डांटा था,जिससे क्षुब्ध होकर वह एक डंपर पर सवार होकर बाहर चला गया था। इसके बाद उसकी तलाश में जुटी पुलिस टीम ने रोहित को ग्राम पटकापुर थाना क्षेत्र सेहरामऊ जनपद उन्नाव से चंद्र प्रकाश द्विवेदी के यहां से बरामद किया और परिजनों को मिलाया है। पुलिस टीम ने बताया कि किशोर को अभी परिजनों के सुपुर्द नहीं किया गया है। उसका मेडिकल परीक्षण कराया जाएगा और पाक्सो कोर्ट में मजिस्ट्रेट के समक्ष उसके बयान भी कराए जाएंगे। इसके बाद परिजनों के सुपुर्द कर दिया जाएगा। बरामदगी टीम में थाने के अतिरिक्त निरीक्षक के अलावा कांस्टेबल दिलीप कुमार, चंद्र कुमार, सुलभ कुमार शामिल रहे।