उसावां : पूर्व मुख्य चिकित्सा अधीक्षक राजेश ने फैलाया था भरस्टाचार

उसावां : पूर्व मुख्य चिकित्सा अधीक्षक राजेश ने फैलाया था भरस्टाचार

बदायूं/ उसावां। कोरोना, डेगूं और मौसमी बीमारी के काल में लोगों को स्वास्थ्य सेवाएं मुहैया कराने के बड़े-बड़े दावे किए जा रहे थे लेकिन उसावां के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का हाल देखते ही सारे दावे हवा-हवाई हो रहे थे

स्वास्थ्य विभाग की उदासीनता के चलते बदहाली की भेंट चढ़ गया है। यह ऐसा अस्पताल है जहां इमारत खड़ी कर उसे अस्पताल का नाम तो दे दिया गया लेकिन यहां डॉक्टर की तैनाती सही नही की गई। हालत यह थी कि यहां सफाईकर्मी लोगों की मरहम पट्टी कर दवा देता था। लोगों के अनुसार सफाई कर्मी अस्पताल चला रहा है। इतना ही नहीं चिकित्सकों के आवासों में शराबी डेरा जमाए हुए हैं। लेकिन डॉक्टर की तैनाती नहीं की सही नही थी अस्पताल में सेवाएं मुहैया कराने के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र स्थापित है। जहां पर उपचार के साथ गर्भवती महिलाओं को प्रसव व टीकाकरण जैसी सुविधाएं कराई जाती हैं। मरीजों को भर्ती के लिए बेड व ऑपरेशन थिएटर हैं। लेकिन पूर्व मुख्य चिकित्सा अधीक्षक की उदासीनता के चलते अस्पतालों में सुविधाएं मुहैया नहीं हो पा थी यहां अस्पताल को सफाई कर्मचारी द्वारा खोला जा था। उपचार को आने वाले मरीज चिकित्सक न होने से मायूस होकर लौट जाते थे। ऐसे में मरीजों को उपचार के लिए जिला अस्पताल तक आना पड़ रहा था । कई मरीज को क्षेत्र में व्याप्त झोलाछाप से ही दवा लेकर उपचार करा लेते हैं। ग्रामीणों ने कई दूसरे चिकित्सक को तैनात करने की मांग की,थी आदि ब्लॉक के लोग उपचार के लिए परेशान न हो
अब तक जानवरों का अड्डा बना अस्पताल, चोरी हो चुका सामान
अस्पताल के मुख्य दरवाजे पर गेट न होने से जानवर बेरोकटोक अंदर आ रहे थे। यहां चिकित्सकों के लिए बने आवासों में बैठते हैं। इससे आवासों में भारी गंदगी हो गई थी। गेट खिड़की भी टूटे पड़े हैं। हैंडपंप भी खराब है।विजली व्यवस्था भी खराब थी इससे आने वाले मरीजों को संक्रामक बीमारियों के होने का खतरा बना रहता था
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र उसावां में चिकित्सक को तैनात किया गया था, जिसकी ड्यूटी कोविड सेंटर में लगाई गई है। यहां पर वार्ड ब्वॉय को तैनात किया जाएगा।
नये, मुख्य चिकित्सा अधीक्षक
गांव में अस्पताल का निर्माण होने पर क्षेत्र के लोगों को उम्मीद जगी कि गांव में ही उपचार मिल सकेगा। लेकिन वर्षों गुजरने के बाद भी इससे पहले इलाज की सुविधा नहीं मिल सकी पूर्व मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने इतना भरस्टाचार बना दिया था जो कि मरीज परेशान होकर लौट रहे थे जब से नये मुख्य चिकित्सा अधीक्षक ने उसावां प्राथमिक स्वास्थ्य से केन्द्र की तैनाती हुई तब से स्वास्थ्य केंद को मरीज खुशहाल नजर आ रहे जो कि इतना ही नही ड्रा. राजेश की मैजूदगी में अस्पताल में बैठने के लिए कुर्सी तक नही थी शराबी ड्रा.राजेश का तबादला उसावां से समुदायक स्वास्थ्य केंद्र आसफपुर कर दिया गया जो की इतना ही नही भर्ष्टाचार को फैलाते हुए पुनः उसावां आने के प्रयास में लगा है