फर्जीवाड़ा कागजो में हुआ डबरी निर्माण शिकायत के बाद भी कार्यवाही नहीं।

कोरबा/पाली:-जिले के पाली जनपद अंतर्गत ग्राम पंचायत डोंगानाला मे मनरेगा के तहत स्वीकृत लाखों की डबरी का बिना खुदाई कराए फर्जी मस्टररोल के सहारे जाबकार्ड धारी ग्रामीण मजदूरों के खाते में राशि अंतरित किए जाने की गंभीर लिखित शिकायत यहां के पंचों द्वारा विगत एक माह पूर्व मुख्य कार्यपालन अधिकारी से किया गया है। जिस पर आज पर्यन्त कोई कार्यवाही नही होने से शिकायतकर्ताओं ने अधिकारियों पर संरक्षण का आरोप लगाया है।

इस संबंध पर गत माह 21 अक्टूबर को ग्राम डोंगानाला के पंचों त्रिवेणी बाई, रामशिर बाई, जानबाई, चित्रलेखा, जयसिंह नेटी, गुलाब सिंह द्वारा पाली सीईओ वीरेंद्र कुमार राठौर को संयुक्त हस्ताक्षरमय दिए गए शिकायत पत्र में उल्लेखित किया गया है कि ग्राम पंचायत डोंगानाला के आश्रित ग्राम गणेशपुर में रूपसिंह पिता नकुल सिंह के नाम से वित्तीय वर्ष 2021- 22 में लाखों के डबरी निर्माण का कार्य स्वीकृत हुआ था। जिसका कार्यारंभ किए बिना ही सरपंच श्रीमती पत्रिका खुरसेंगा द्वारा ग्राम के विभिन्न जॉबकार्ड धारी मजदूरों के नाम से फ़र्जी मस्टररोल भरकर उनके बैंक खाते में हजारों रुपए अंतरित किया गया है। जिसमे हितग्राहियों से मिलीभगत करके व विभाग से जुड़े तकनीकी सहायक एवं आपरेटर के साथ सांठगांठ कर फर्जी रूप से मूल्यांकन पश्चात राशि अंतरित कर लिया गया है। जहां उक्त निर्माण कार्य के लिए नियुक्त रोजगार सहायक को सरपंच द्वारा उसके कर्तव्यों से हटाकर बिना कार्य कराए मजदूरी भुगतान के नाम पर जमकर भ्रष्ट्राचार किया गया है। पंचों द्वारा अपने शिकायत पत्र में ग्राम पंचायत के सभी मनरेगा कार्यों के भौतिक सत्यापन एवं उनके निष्पक्ष जांच तथा उचित कार्यवाही की मांग भी की गई है। किंतु आज पर्यन्त शिकायत पर किसी प्रकार की जांच अथवा कार्यवाही नही हो पाया है। जिसे लेकर शिकायतकर्ता पंचों ने पाली जनपद के अधिकारियों पर संरक्षण देने का आरोप लगाया है। मामले में फर्जी मस्टररोल के सहारे मजदूरी भुगतान से संबंधित जो विभागीय दस्तावेज प्राप्त हुआ है उसके अनुसार 20 मई से 26 मई 2021 तक एक सप्ताह कार्य कराना व 162 मानव दिवस कार्य बताकर 30 हजार 7 सौ 80 रुपए की राशि अंतरित की गई है। मनरेगा के कार्य मे बिना निर्माण के मजदूरी भुगतान जैसे गंभीर शिकायत पर संबंधित अधिकारियों द्वारा गंभीरता नही दिखाया जाना सोचनीय पहलू बनकर रह गया है। जिससे भ्रष्ट्राचार को बल मिलता है। फिलहाल पंचों से प्राप्त शिकायत के आधार पर क्या कार्यवाही किया गया, इस पर जानकारी चाहने पाली जनपद सीईओ श्री राठौर से संपर्क साधा गया किंतु उनसे संपर्क नही हो पाया, वहीं सरपंच से पूर्व में समाचार संबंधि चर्चा पर प्राप्त कटु अनुभव के कारण उनकी प्रतिक्रिया लेना जरूरी नही समझा गया।