अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद इकाई की मांग पूरी नहीं होगी तो उग्र आंदोलन करने की दी चेतावनी

अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद इकाई की मांग पूरी नहीं होगी तो उग्र आंदोलन करने की दी चेतावनी

इस तरह से मनमर्जी करने वाले संस्था प्रमुख को यहां से तुरंत हटाया जाए और बच्चों का भविष्य को संवारा जाए

शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक विद्यालय में दो विषयों को बंद कर दिए जाने और बच्चों को एडमिशन नहीं दिए जाने को लेकर सौंपा ज्ञापन

शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक विद्यालय संस्था प्रमुख द्वारा मनमर्जी से जो विषय को बंद कर देने के चलते दोविषय बंद करने की जानकारी ना किसी अधिकारी को ना जनप्रतिनिधियों को क्या ऐसे करने की छूट संस्था प्रमुख कोहै
शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक विद्यालय में दो विषय को बंद कर देने को लेकर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद करेगा उग्र आंदोलन आपको बता दें कि नगरी शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक शाला नगरी में संस्था प्रमुख द्वारा किसी भी अपने उच्च अधिकारी को जिला कलेक्टर को इसकी जानकारी दिए बिन 11वीं क्लास में आर्ट और एग्रीकल्चर के विषयों को बंद कर दिया गया जिसके कारण बच्चे अपनी भविष्य को लेकर परेशान नजर आ रहे हैं वही मजबूरन बच्चे सिहावा और सांकरा के स्कूल में एडमिशन ले कर पढ़ाई चालू कर दिए हैं जो यहां से 8 किलोमीटर दूर रोज आना जाना पड़ता है वही आर्थिक स्थिति से जूझ रहे कुछ बच्चे अभी तक कहीं भी एडमिशन नहीं लिए हैं जिन के भविष्य को ताक में रखकर संस्था प्रमुख द्वारा मनमानी क्या उच्च अधिकारियों से अपने आप को बड़ा समझना या मनमर्जी करना जिला के उच्च अधिकारी शिक्षा विभाग के उच्च अधिकारी क्षेत्र के जनप्रतिनिधि क्या इस पर ठोस कार्रवाई करेंगे की लीपापोती कर देंगे एक तरफ शासन-प्रशासन बच्चों को अच्छी शिक्षा देने सर्व सुविधा युक्त स्कूल खोलने की बात करती है वही दो सब्जेक्ट बंद कर बच्चों के भविष्य से किया जा रहा है खिलवाड़ इसकी जवाबदेही किसकी
संस्था प्रमुख द्वारा अपनी मर्जी से आर्ट्स और एग्रीकल्चर का 11th क्लास में एडमिशन नहीं देने से बच्चे के साथ-साथ उनके पेरेंट्स मानसिक टेंशन में कुछ बच्चे पढ़ाई छोड़ने मजबूर
वही एक तरफ शासन प्रशासन करोड़ों रुपया साक्षर करने और उच्च शिक्षा प्रदान करने के लिए खर्चा कर रही है क्या इन बच्चों को शिक्षा से दूर करना जायज है

नगर पंचायत नगरी के शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक विद्यालय दो विषयों को बंद कर दिए जाने को लेकर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में शासकीय श्रृंगी ऋषि उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के प्राचार्य एवं नगरी अनु विभागीय अधिकारी राजस्व को छत्तीसगढ़ शासन शिक्षा मंत्री के साथ जिला कलेक्टर के नाम सौंपा ज्ञापन ज्ञापन में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद इकाई द्वारा शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक विद्यालय में जो विषयों को बंद कर दिया गया है आर्ट और एग्रीकल्चर इन दोनों विषय को जल्द चालू करने की मांग की के साथ शासकीय श्रृंगी ऋषि के बिल्डिंग को तोड़कर आत्मानंद मीडियम स्कूल के लिए निर्माण किया जा रहा है उसका भी विरोध किया गया है वही अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के सदस्यों ने बताया कि दोनों विषयों को बंद करने से नगरी हाई स्कूल में पढ़ रहे बच्चों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है क्षेत्र की सबसे पुरानी स्कूल शासकीय श्रृंगी ऋषि माध्यमिक शाला होने के बाद संस्था प्रमुख के मनमर्जी के चलते नगरी से 8 से 10 किलोमीटर दूर सिहावा और सांकरा स्कूल में पढ़ने को जाने मजबूर हो रहे हैं कुछ बच्चे तो पढ़ाई छोड़ने को मजबूर कुछ बच्चे के परिवार परिवहन का खर्चा उठाने में सक्षम नहीं होने के कारण अपने बच्चों को पढ़ाई नहीं करने की बात कह रहे हैं अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के सदस्यों ने 5 दिवस का अल्टीमेटम ज्ञापन के माध्यम से दिया गया है अगर यह विषय शासकीय श्रृंगी ऋषि उत्तर माध्यमिक शाला में पुनः चालू नहीं किया गया तो इसके लिए उग्र आंदोलन करने की बात कही
वहीं शाला के प्रमुख से चर्चा करने पर कहां की टीचरों की व्यवस्था नहीं होने के कारण यह दो विषय बंद कर दिया गया है साथ ही यह भी कहा कि आत्मानंद के सेटअप के कारण इन दोनों सब्जेक्ट का ऐडमिशन 11th में नहीं लिया गया
मगर इसकी लिखित में कोई आदेश नहीं आया है यहां के सभी टीचरों का काउंसलिंग कर दिया गया है साथ यह पूछने पर कि पालक व्यवस्था समिति के साथ दोनों सब्जेक्ट को बंद करने को लेकर बैठक हुई थी क्या उनको विश्वास में लिया गया था उसमें संस्था के प्रमुख द्वारा कहा गया कि कोई बैठक नहीं हुई है नहीं शिक्षा विभाग से कोई आदेश जारी हुआ है ना ही शासन-प्रशासन इसकी कोई लिखित सूचना मिली है
वही बच्चों का कहना है कि नगरी के बच्चों को कम से कम हाई स्कूल में एडमिशन दिया जाना चाहिए था इतने सालों से यह सब्जेक्ट हाई स्कूल में चल रहा है अचानक क्यों बंद कर

वास्तव में क्या बिना आदेश के सब्जेक्ट को बंद कर देना सही है क्या हिंदी मीडियम में पढ़ 11 वी के बच्चे एकाएक इंग्लिश मीडियम में जाकर अपना भविष्य बना सकते हैं यह क्षेत्र पूरा एग्रीकल्चर पर आधारित क्षेत्र में किसान के बेटे अत्यधिक हैं जो एग्रीकल्चर कर खेती बाड़ी को आगे बढ़ाना चाहते हैं एक तरफ साथ में शासन प्रशासन भी इन लोगों को पूरा सहयोग करने की बात करती है क्या उन बच्चों के पीठ पर आर्थिक खंजर मारा नहीं गया

इस विषय में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के बच्चों ने नगरी में जिला धमतरी कलेक्टर से संपर्क कर बात किया तो उनका कहना है कि इन सब चीजों की जानकारी मुझे प्राप्त नहीं हुई है वहीं बैठे बैठे शिक्षा विभाग के डी ओ को फोन लगाया गया तो डी ओ मैडम द्वारा कहा गया कि हाई स्कूल में पूरे सब्जेक्ट सुचारू रूप से चालू है जिला के बड़े जिला अधिकारी को भी यह पता नहीं कि यहां दो सब्जेक्ट को बंद कर दिया गया है आखिर यह कैसी व्यवस्था शासन प्रशासन की अधिकारियों को पता नहीं सब्जेक्ट बंद कर दिया गया या इसके पीछे और कोई कारण है वहीं एक तरफ टीचर की व्यवस्था नहीं होने की बात कही जाती है इसकी भी चर्चा कलेक्टर सर से की गई कलेक्टर सर ने साफ शब्दों में कहा कि पूरी टीचर की व्यवस्था कराई जाएगी मगर मजे की बात यह है कि जिला के मुखिया को ही दो सब्जेक्ट बंद होने की जानकारी नहीं
क्या स्कूल का प्रमुख अपनी मर्जी से कोई भी सब्जेक्ट बंद कर सकता है या खोल सकता है या स्कूल में कुछ भी कर सकता है जिसकी जानकारी अपने विभाग के साथ-साथ जिला के प्रमुख अधिकारी को भी नहीं देना अपनी तौहीन समझता है
विद्यार्थी आंदोलन करने के मूड में क्या आंदोलन कर रहे विद्यार्थियों के ऊपर में शासन-प्रशासन नकल नहीं कसेगी अगर उन पर नकल कसेगी तो ऐसे मनमानी करने वाले अधिकारियों के ऊपर क्या कार्रवाई की जाएगी