सरकार के रवैये से प्रबंधको में आक्रोश

संवाददाता रुद्रपुर तारकेश्वर विश्वकर्मा

आज दिन बुधवार को प्राइवेट प्रबंधक वेलफेयर एसोसिएशन की बैठक हुई जिसमे राज्य सरकार द्वारा स्कुलो को बंद करने का निर्णय का घोर विरोध किया गया | बैठक को संबोधित करते हुए श्री राम भगत शर्मा ने कहा कि वास्तव में अगर सरकार छोटे विद्यालयों का हित चाहती तो ऐसा कदापि नहीं करती| एसोसिएशन के सचिव श्री सत्राजित मणि त्रिपाठी ने कहा कि सरकार विद्यालय में पढ़ने वाले शिक्षको के बारे में बिलकुल भी नहीं सोच रही है| प्राइवेट विद्यालय के अध्यापको का हाल सबसे ख़राब हुआ है , सरकार को स्कूल के साथ ही प्राइवेट शिक्षको के बारे में सोचना चाहिए | श्री योगेन्द्र मणि त्रिपाठी ने कहा कि सरकार की तानाशाही रवैया के कारण स्कुलो का बहुत क्षति हुई है जबकि सरकार के द्वारा कोई सहयोग नहीं मिला | श्री तनमय दत्ता ने कहा की कोरोना काल में भी विद्यालयों के बिजली का बिल मनमाने ढंग से लिया गया | श्री अफरोज अली ने कहा की जो विद्यालय किराये की मकानों में चल रहे है उनकी हालत और ख़राब है माकन मालिक किराये में रियायत करने को भी तैयार नहीं है वो किराया कहा से देंगे | एसोसिएशन के अध्यक्ष ब्रह्मानंद दुबे ने कहा कि सरकार की मंशा छोटे स्कुलो को बंद करने की है, सरकार के मुताबिक केवल स्कुलो में ही कोरोना फ़ैल रहा है जबकि तमाम चुनावी रेलिया बिना रोक टोक के हो रही है | प्रबंधको ने बैठक में निर्णय लिया कि अगर 1 अप्रैल से स्कूल नहीं खुले तो सारे प्रबंधक, अध्यापक और सारे स्कूल के बच्चो सहित आन्दोलन के लिए बाध्य होंगे | बैठक को रत्नेश त्रिपाठी, श्याम विश्वकर्मा, अश्विनी द्विवेदी, अमरेन्द्र प्रताप सिंह, पंकज शुक्ल, श्री कृष्णा वर्मा, यतीन्द्र गुप्ता, महेंद्र गुप्ता, असलम अली सिद्दीकी, तरुनेंद्र शुक्ल, श्याम सुन्दर यादव, अम्मार हसन, मो मुर्तुजा, पियूष मणि, बाबा रामदास, राधेश्याम गुप्ता, प्रमोद पाण्डेय, विश्व विजय मल्ल आदि प्रबंधक बंधू उपश्थित रहे |