चोरी की बाइक संग्रह कर क्रय विक्रय करने के आरोपी को मिली जमानत

वाराणसी:-न्यायालय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश विशेष न्यायाधीश पास्को (प्रथम) की अदालत में न्यायाधीश त्रिभुवन नाथ ने चोरी के मोटरसाइकिल को संग्रह कर, नेमप्लेट से छेड़छाड़ कर बेचने के मामले में मनीष कुमार देववंशी पुत्र उमाशंकर देववंशी निवासी काशीपुरा बलुआ थाना चौक के आरोपी को निम्न शर्तों के अधीन जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया कि अभियुक्त जमानत पर छूटने के पश्चात पुनः अपराधिक गतिविधियों में शामिल नहीं होगा, विचारण में सहयोग करेगा, न्यायालय व पुलिस द्वारा तलब किए जाने पर उपस्थित होगा तथा जमानत के तौर पर एक-एक लाख का व्यक्तिगत बंधपत्र व समान राशि का दो प्रतिभू दाखिल करने पर जमानत देने का आदेश पारित किया। अभियुक्त की ओर से बचाव पक्ष में विद्वान अधिवक्ता अंकुर पटेल व दीपक कुमार सिंह ने पक्ष रखा।

अभियोजन के अनुसार दिनांक 14 जनवरी 2021 को थाना कोतवाली, वाराणसी में प्रथम सूचना रिपोर्ट पुलिस द्वारा धारा 411,413,414,420,467,468,471 आईपीसी में दर्ज कराया गया कि वादी अपने हमराही पुलिस बल के साथ मैदागिन चौराहे के पास मौजूद थे तभी मुखबिर से सूचना प्राप्त हुई कि कुछ लोग चोरी की मोटरसाइकिल को लेकर अग्रसेन इंटर कॉलेज के पास मौजूद है। वे लोग गाड़ियां चुराते हैं और बेच देते हैं। सूचना पाकर मुखबिर द्वारा बताए गए स्थान पर पहुंचे। मुखबिर द्वारा इशारा कर उक्त व्यक्ति के बारे में बताया। अपाचे गाड़ी पर बैठे तीन व्यक्ति व एक्टिवा स्कूटी पर बैठे दो व्यक्ति अपनी अपनी मोटरसाइकिल को लेकर अग्रसेन इंटर कॉलेज की तरफ भागने का प्रयास किया। तब पुलिस बल ने उपरोक्त दोनों मोटरसाइकिल सवारों को पकड़ लिया परंतु एक व्यक्ति भीड़ का फायदा उठाकर भागने में सफल हो गया परंतु पकड़े गए व्यक्ति का नाम पूछने पर अपाचे पर बैठे व्यक्ति ने अपना नाम सुमित यादव उर्फ बाबू बताया जो गाड़ी चला रहा था जमा तलाशी में नगद ₹200 की बरामदगी हुई तथा दूसरे ने अपना नाम मनीष कुमार देववंशी बताया तथा जमा तलाशी में ₹300 की बरामद हुई तथा वाहन यूपी 65 सी आई 6183 से सम्बंधित प्रपत्र मांगा गया तो दिखाने में कासिर रहा तथा भागने वाला व्यक्ति का नाम पूछा गया तो उसका नाम अर्जुन वर्मा बताएं स्कूटी पर बैठे व्यक्तियों का नाम व तलाशी लेने पर एक ने अपना नाम विक्की खरवार तथा ₹200 की बरामद की गई तथा दूसरे व्यक्ति ने अपना नाम शशांक राय बताएं तथा जामा तलाशी में ₹150 बरामद की गई गाड़ी नंबर यूपी 65 डी एच 7289 बताया एक्टिवा का पेपर मांगा गया तो दिखाने में कासिर रहा।सभी व्यक्ति ने बताया कि हम लोग कि एक गैंग है हम लोग दिन-रात मौका देखकर खड़ी गाड़ियों को चुराते हैं और सस्ते दामों पर बेचकर भौतिक सुख-सुविधाओं की पूर्ति करते हैं हम लोग चुराई हुई गाड़ियों का नंबर प्लेट बदलकर चलाते हैं और मौका देखकर जनपदों में बेच देते है। उपरोक्त का एप्स से चेक किया गया तो पंजीयन संख्या भिन्न पाया गया।