चंदौली- सीएम योगी तक पहुंचा प्रीति यादव ऑनर किलिंग का मामला, निर्भया केस की वकील सीमा कुशवाहा ने मामले को लिया संज्ञान पुलिस कार्यप्रणाली पर उठाए सवाल

सीएम योगी तक पहुंचा प्रीति यादव ऑनर किलिंग का मामला, निर्भया केस की वकील सीमा कुशवाहा ने मामले को लिया संज्ञान पुलिस कार्यप्रणाली पर उठाए सवाल

संवाददाता कार्तिकेय पांडेय

चंदौली- पुलिस महकमे पर प्रीति हत्याकांड को लेकर अब सवाल उठने शुरू हो गए हैं... क्या चंदौली पुलिस प्रीति हत्याकांड के आरोपियों को गिरफ्तार करने से आनाकानी कर रही है..या फिर आईजी से लेकर नीचे तक के सारे अधिकारी फर्जी तरह के आदेश निर्देश दे रहे हैं, जिसके बाद भी अब तक प्रीति हत्याकांड के आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं की जा रही है ।

बताते चलें कि प्रीति हत्याकांड को लगभग 36 दिन हो चुके हैं और इस संबंध में अलीनगर थाना में मुकदमा संख्या 259 / 20 धारा 302/201 पंजीकृत है । इसके बावजूद भी पुलिस उनके अभियुक्तों को बचाने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ रही है। मामले को टालने के लिए अपने तरीके से नए नए बहाने खोज ले रही है।

कहा जा रहा है कि आंततोगत्वा प्रीति यादव के कानूनन पति इस हत्या के खुलासे के लिए रोज सबूत प्रस्तुत करते जा रहे हैं..ताकि पुलिस की आंख पर बंधी पट्टी खुल सके....

इस संबंध में दाह संस्कार करने की लगी रसीद व फर्जी ढंग से बनाए जाने को सोशल मीडिया में खूब प्रदर्शित किया जा रहा है.. उसके बाद भी पुलिस अभी प्रीति यादव के कातिलों को बचाने में जुटी हुई है ।

लेकिन इस मामले में अंकित यादव का कहना है कि पुलिस द्वारा यह सारी बातें जो भी बताई जा रही है वह मनगढ़ंत है और इसमें प्रीति यादव की हत्या कर दी गई है जिससे अब मिले सबूतों से सिद्ध हो रहा है ।

इस मामले को लेकर अंकित यादव के द्वारा 1 महीने से लगातार चक्कर लगाया जा रहा है जिसमें सदर क्षेत्राधिकारी से तीन बार मिल चुका है। एसपी से 5 बार और आई जी से मिला तो उन्होंने सभी अभियुक्तों को गिरफ्तार करने का आदेश भी दे दिया, लेकिन लोकल पुलिस स्टाफ को बचाने में लगी हुई है।

इसमें प्रीति के परिजनों द्वारा झूठा संस्कार की पर्ची कटवाई गई थी जो बैक डेट में जिस महिला से वह पर्ची कटवाई गई है वह महिला पढ़ी लिखी बिल्कुल नहीं है उसने बताया कि प्रीति के परिजन उसके घर 7 दिसंबर 20 को आए थे और बैक डेट में इसकी पर्ची कटवाई बाद में फिर शाम को आए तो उसका अंगूठा भी लगवाए।

कहा जा रहा कि झूठ की पर्ची की जांच बिना अलीनगर के थानाध्यक्ष और सीओ सदर उसे केस डायरी पर पार्ट बना लिया और आरोपी को लाभ पहुंचाने के लिए पूरी कोशिश कर रहे हैं। इसमें सीओ और IO अफसर की भूमिका भी पीड़ित को संदिग्ध लग रही है। कहा जा रहा है कि अफसर कहीं ना कहीं हत्यारों से मिले हुए हैं।

अंकित यादव ने इस ऑनर किलिंग के मामले को अब मुख्यमंत्री और राज्यपाल के साथ-साथ भारत सरकार के गृह मंत्री से मिलकर गुहार लगाने की बात भी कहीं है। इस मामले का खुलासा नहीं हुआ तो उसने सीबीआई जांच कराने के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ेगा ।

इस संबंध में सदर क्षेत्राधिकारी कुंवर प्रभात सिंह ने बताया कि इस मामले में विवेचक एसएचओ अलीनगर हैं, जिनके द्वारा जांच की जा रही है और प्रीति यादव के प्रेस पर मिले चमड़ी के सिंपल व उनके परिजनों के खून के सैंपल की डीएनए टेस्ट के लिए भेजा जा चुका है तथा अंकित यादव द्वारा दिए गए लेटर की राइटिंग जांच के लिए एक्सपर्ट के पास भेजी गई है। जैसे ही साक्ष आएंगे उसके अनुसार कार्यवाही की जाएगी।

सदर क्षेत्राधिकारी कुंवर प्रभात सिंह ने बताया कि 302 के मुजरिम को कोर्ट में प्रस्तुत करने से पहले पुलिस के पास सबूत होना अति आवश्यक है। जिसके लिए पुलिस पूरी तरफ जांच लगी हुई है। इसमें दोषियों को किसी भी अस्तर से छोड़ा नहीं जाएगा चाहे वह पुलिस विभाग का ही क्यों ना हो गुनाह किया है तो उसे सजा अवश्य मिलेगी।

वही आपको बताते चलें कि निर्भया व हाथरस जैसे प्रकरणों में पीड़ित का पक्ष न्यायालय में मजबूती से रखने वाली सुप्रीम कोर्ट की चर्चित अधिवक्ता सीमा कुशवाहा ने जनपद के प्रीति यादव हत्यांकाड को संज्ञान में लिया है। ट्विटर के जरिए जब ये खबर उन तक पहुंची तो उन्होंने पूरे घटनाक्रम को तफ्शील से जाना और समझा। इसके बाद प्रीति के पति अंकित यादव से बातचीत कर प्रीति यादव को न्याय दिलाने का भरोसा दिया। साथ ही उन्होंने एक वीडियो संदेश जारी कर चंदौली एसपी समेत तमाम पुलिस अफसरों की कार्य प्रणाली पर सवाल उठाए और उन्हें निष्पक्ष होकर प्रकरण में काम करने की आवश्यकता भी जताई।