3 घंटे तक मनरेगा श्रमिकों ने किया विरोध–प्रदर्शन।

मनरेगा श्रमिकों ने कस्बे में निकाली मजदूरी की मांग को लेकर विरोध रैली।

प्रदर्शनकारियों ने लगाए अधिकारियों पर भ्रष्टाचार के आरोप।

@प्रदीप कुमार सैनी।

दांतारामगढ़ (सीकर), 23 जून। मनरेगा श्रमिकों का मजदूरी की मांग को लेकर आंदोलन को उग्र होता जा रहा हैं। मंगलवार को सुबह 10 बजे से सैकड़ों की संख्या में मनरेगा श्रमिकों द्वारा ग्राम पंचायत दांता के सामने विरोध प्रदर्शन करते हुए प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की गई और उसके बाद श्रमिकों द्वारा दांता कस्बे के बाजार में विरोध रैली निकालकर मजदूरी के पूरे पैसे देने की मांग की गई। उसके बाद श्रमिकों द्वारा दांतारामगढ़ के उपखंड अधिकारी कार्यालय पहुंचकर ज्ञापन दिया गया जिसमें पूरी मजदूरी देने की मांग करते हुए कहा गया कि अगर अधिकारी मामले की जांच कर पूरी मजदूरी नहीं दिलाते हैं तो कल उपखंड मुख्यालय पर आंदोलन किया जाएगा। इस दौरान कॉमरेड इंदर सिंह लांबा, कॉमरेड हरफूल सिंह बाज्या, कॉमरेड चेन सिंह, कॉमरेड घनश्याम सांखला सहित कई कार्यकर्ता मौजूद रहे।

माकपा का प्रत्येक कार्यकर्ता मजदूरों के साथ

पूर्व विधायक कॉमरेड अमराराम ने बताया कि नरेगा श्रमिकों को कड़ी धूप में काम करवा कर भी पूरी मजदूरी नहीं मिलना बहुत ही शर्मनाक बात हैं। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से मनरेगा श्रमिकों के साथ में लॉकडाउन के दौरान सरकार व अधिकारियों द्वारा बर्ताव किया जा रहा हैं। उससे साफ जाहिर होता है कि सरकार द्वारा मजदूरों को नीचे दबाने का कार्य किया जा रहा हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारी से ज्यादा दोषी सरकार खुद है जो मजदूरों के ऊपर इस संकट की घड़ी में साथ देने की बजाय उनके द्वारा की जा रही मजदूरी के पैसे पूरे नहीं दिए जा रहे। उन्होंने कहा कि माकपा पार्टी का हर कार्यकर्ता मजदूरों के साथ में कंधे से कंधा मिलाकर मजदूरी की मांग उठाते हुए आंदोलन करेगा और मजदूरों को न्याय दिलाएगा। अगर आवश्यकता पड़ी तो आंदोलन को उपखंड स्तरीय एवं जिला स्तरीय करना पड़ा तो करेंगे।

पुलिस की मौजूदगी में 3 घंटे प्रदर्शन

मनरेगा श्रमिक 3 घंटे तक ग्राम पंचायत दांता के बाहर एकत्रित होकर मजदूरी की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन करते रहे। सूचना पर मौके पर दांतारामगढ़ थाने से भारी पुलिस जाब्ता तैनात किया गया और मजदूरों से समझाइश की गई लेकिन मजदूर नहीं माने। और मजदूर शासन प्रशासन के खिलाफ लगातार नारेबाजी करते रहे।

अधिकारियों के मौके पर नहीं पहुंचने से नाराज हुए श्रमिक

3 घंटे तक विरोध प्रदर्शन करने के दौरान भी उपखंड स्तरीय अधिकारी मजदूरों को आश्वस्त करने मौके पर नहीं पहुंचे जिसको लेकर श्रमिकों में काफी आक्रोश देखने को मिला। मजदूरों ने बताया कि अधिकारी मजदूरों की पुकार सुनने नहीं आ रहे हैं और उन्होंने बताया कि मौके पर ना तो हम अधिकारी आए ना ही तहसीलदार और ना ही विकास अधिकारी मौके पर पहुंचे। मजदूरों ने अधिकारियों पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया कि मजदूरी कम मिलने का कारण अधिकारियों की मिलीभगत है।