लोकडॉउन में ऑनलाइन बनी टिकटों के रिफंड का पैसा अटका - IRCTC/रेलवे मांग रही है सबूत

एक तरफ सभी लोग महामारी से परेशान है दूसरी तरफ रेलवे/IRCTC के नए फरमान के चलते एजेन्ट ओर यात्री परेशान है । रेलवे/IRCTC ने लोकडॉउन में कैंसिल हुई ट्रेनों का रिफंड प्रिंसिपल एजेन्ट तक तो पहुचा दिया लेकिन अभी तक एजेन्ट ओर यात्री तक नही पहुंचा है इसके लिए रेलवे/IRCTC ने यात्री के सबूत एजेन्ट से मांगे है जो टिकटें IRCTC पोर्टल से एजेंटों ने बनाई उनके रिफंड का पैसा अभी तक रोका हुवा है ये पेमेंट प्रिंसिपल एजेन्ट को यात्री के प्रूफ देने के बाद ही यात्री के बैंक खाते में सीधा जमा होगा ।
अभी तक जो एजेन्ट टिकट बनाता था उसके वॉलेट में ये पैसा आ जाता था लेकिन अभी नही आया है । जिन एजेंटों ने टिकट लोकडॉउन के एकाध दिन पहले बनाई उनका पैसा यात्री से लेना भी बकाया बताया जा रहा है ऐसे में एजेंट को पैसों की दो तरफ से चपत लग रही है एक तरफ रेलवे ने टिकट के रुपये पहले काट लिए लेकिन यात्री से नही मिले और अब लोकडॉउन के चलते ट्रेनें कैंसिल हो गयी जिनका रिफंड रेलवे सीधा यात्री को भेजेगा । ऐसे में उन एजेंटों को आर्थिक नुकशान होगा जिन्हें अभी तक टिकट का पेमेंट यात्री से नही मिला है और इसकी क्या गारंटी है कि यात्री रिफंड का पैसा एजेंट को देगा ओर जिन यात्रियों ने एजेंट को रेल टिकट का पेमेंट दे दिया है उसमे एजेंट को किसी प्रकार से परेशानी नही है । रेलवे भले ही अग्रिम पैसा टिकट का लेती हैं लेकिन एजेंट को अपना बिजनिस चलाने के लिए बकाया में भी बिजनिस करना पड़ता है ।

यात्री एजेंट से टिकट तो बना लेते है लेकिन थोड़ी देर बाद कैंसिल भी किन्ही कारणों से करवा देते है इस दरमियान यात्री से टिकट का पेमेंट एजेंट को नही मिलता , ऐसी दशा में एजेंट को नुकशान होगा ओर यात्री उस एजेंट को तब तक पेमेंट नही देगा जब तक कि उसके पास रिफंड न आ जाये । प्रिंसिपल एजेंट को चाहिए कि एजेंट टिकट कैंसिल करते समय वॉलेट में रिफंड चाहता है या सीधे बैंक में ये सुविधा शुरू करनी चाहिए या फिर रेलवे/IRCTC लोकडॉउन में कैंसिल हुई टिकट का रिफंड का पैसा जैसा चलता आ रहा है उसी के अनुरूप करे और रेलवे को ये आदेश नए सिरे से ट्रेनों का सुचारू संचालन होने के बाद जारी करने थे जिसमें सम्बन्धित यात्री की टिकट बनाते समय ही तमाम जानकारी सिस्टम में उपलब्ध करवाने पर ही टिकट बन सके ऐसी व्यवस्था करनी चाहिए ।